October

Dussehra
2023-10-24
गुज़िश्ता साल शायद ठीक से मारा नहीं था
ये रावण इस बरस फिर सामने तनकर खड़ा है
- 17 Sher
2023-10-24
गुज़िश्ता साल शायद ठीक से मारा नहीं था
ये रावण इस बरस फिर सामने तनकर खड़ा है
2023-11-14
आज की रात दिवाली है दिए रौशन हैं
आज की रात ये लगता है मैं सो सकता हूँ
2023-11-15
या रब मिरी दुआओं में इतना असर रहे
फूलों भरा सदा मिरी बहना का घर रहे
2023-12-25
निगाह-ए-गर्म क्रिसमस में भी रही हम पर
हमारे हक़ में दिसम्बर भी माह-ए-जून हुआ
2024-01-01
सफ़र में आख़िरी पत्थर के बाद आएगा
मज़ा तो यार दिसंबर के बाद आएगा
2023-01-26
कुछ बात है कि हस्ती मिटती नहीं हमारी
सदियों रहा है दुश्मन दौरे जहाँ हमारा
2023-02-07
सुनो कि अब हम गुलाब देंगे गुलाब लेंगे
मोहब्बतों में कोई ख़सारा नहीं चलेगा
2023-02-08
अगर है इश्क़ सच्चा तो निगाहों से बयाँ होगा
ज़बाँ से बोलना भी क्या कोई इज़हार होता है
2023-02-09
वहशत के कारखाने से ताज़ा ग़ज़ल निकाल
ए सब्र के दरख़्त मेरा मीठा फल निकाल
2023-02-10
अपने हालात पर मैं हँसती हूँ
कोई तोहफ़ा नहीं मिला मुझ को
2023-02-11
एक वादा कर रहा हूँ आपसे
हर किया वादा निभाऊँगा सनम
2023-02-12
आओ गले मिल कर ये देखें
अब हम में कितनी दूरी है
2023-02-13
मिरे होंटों पे अपनी प्यास रख दो और फिर सोचो
कि इस के बा'द भी दुनिया में कुछ पाना ज़रूरी है
2023-02-14
मैं क़िस्सा मुख़्तसर कर के, ज़रा नीची नज़र कर के
ये कहता हूँ अभी तुम से, मोहब्बत हो गई तुम से
2023-03-08
हमने अब तक गाल बचा के रक्खे हैं
क्या तुमने भी गुलाल बचा के रक्खे हैं
2023-03-30
है राम के वजूद पे हिन्दोस्ताँ को नाज़
अहल-ए-नज़र समझते हैं उस को इमाम-ए-हिंद
2023-04-22
वैसे एक शिकवा था तुमसे
अच्छा छोडो, "ईद मुबारक"
2023-05-14
खिलौनों की तरफ़ बच्चे को माँ जाने नहीं देती
मगर आगे खिलौनों की दुकाँ जाने नहीं देती
2023-05-21
चाय पीते हैं कहीं बैठ के दोनों भाई
जा चुकी है ना? तो बस छोड़! चल आ, जाने दे
2023-06-18
अपने बच्चों से बहुत डरता हूँ मैं
बिल्कुल अपने बाप के जैसा हूँ मैं
2023-06-29
न वैसा चाँद फिर निकला न वैसी ईद फिर आई
किसी ने जब मेरी ईदी मेरे होटों पे रख दी थी
2023-07-01
आँधियों से लड़ रहे हैं जंग कुछ काग़ज़ के लोग
हम पे लाज़िम है कि इन लोगों को फ़ौलादी कहें
2023-07-23
घर की इस बार मुकम्मल मैं तलाशी लूँगा
ग़म छुपा कर मिरे माँ बाप कहाँ रखते थे
2023-07-30
शर्तें लगाई जाती नहीं दोस्ती के साथ
कीजे मुझे क़ुबूल मिरी हर कमी के साथ
2023-08-15
सारे जहाँ से अच्छा हिन्दोस्ताँ हमारा
हम बुलबुलें हैं इस की ये गुलसिताँ हमारा
2023-08-29
हज़ार बर्क़ गिरे लाख आँधियाँ उट्ठें
वो फूल खिल के रहेंगे जो खिलने वाले हैं
2023-08-30
किसी के ज़ख़्म पर चाहत से पट्टी कौन बाँधेगा
अगर बहनें नहीं होंगी तो राखी कौन बाँधेगा
2023-09-05
माँ बाप और उस्ताद सब हैं ख़ुदा की रहमत
है रोक-टोक उन की हक़ में तुम्हारे नेमत
2023-09-06
हाल न पूछो मोहन का
सब कुछ राधे राधे है
2023-09-14
बेगानी इस दुनिया का, ताना-बाना सुन
उक्ता के उनसे हिन्दी का इक गाना सुन