हमदम को मेरे नाम का मतलब नहीं पता
रस्ते को ख़ुद मक़ाम का मतलब नहीं पता
मतलब पता है आदमी को हुक्म का मगर
औरत को ही गुलाम का मतलब नहीं पता
हमने उन्हें कहा कि हमें वक़्त चाहिए
थोड़ा अगर तमाम का मतलब नहीं पता
ख़ुद उसकी बेटी खुश नहीं है उसकी जीत पर
दुश्मन को इंतिक़ाम का मतलब नहीं पता
सरकार को भी हमसे कोई वास्ता नहीं
हमको भी बेलग़ाम का मतलब नहीं पता
इक बार अपनी माँ को मोहब्बत से देख ले
जिसको भी हुस्न-ए-ताम का मतलब नहीं पता
कहदो तुम उनसे मुझको कभी शाम में मिलें
वो जिनको इंतिज़ाम का मतलब नहीं पता
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