Hashim Khan

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@Hashimkhan123

Hashim Khan shayari collection includes sher, ghazal and nazm available in Hindi and English. Dive in Hashim Khan's shayari and don't forget to save your favorite ones.

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  • Sher
  • Nazm
"बीते लम्हें"
जो थे हर लम्हे में सिर्फ़ मेरे

उनसे अब साझा हम जज़्बात नहीं करते
जो कुछ वक्त बात न होने पर नाराज़ हुआ करते थे

हाँ यार उनसे अब हम बात नहीं करते
जिनकी ज़ुल्फ़ों में थी हर छाँव मेरी

वो अब इस बेग़ैरत धूप में भी बरसात नहीं करते
जिनके लबों से हम इश्क़ पढ़ा करते थे

अब ग़म हो या ख़ुशी हम मुलाक़ात नहीं करते
याद आए मुझे उनके सात जन्मों के कुछ वादे

कमबख़्त इस जन्म में भी वादों के साथ नहीं चलते
जिन्होंने सिखाया था मुझे चलने का हुनर

वो अब गिर जाने पर भी आगे हाथ नहीं करते
हर्फ़-ए-इश्क़ सीखा हमने जिन दिलो से

वो दिल भी अब दिल का काम नहीं करते
आँसू भी अब सूखे से आते है हुज़ूर

ये आँसू भी ठीक से ख़ैरात नहीं करते
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Hashim Khan