तूने किया क्या है इन्हें और क्या नहीं है
अब एक लड़का और पहले सा नहीं है
उसको मेरी चाहत है, पर चाहत ही है बस
वो मुझको अपना लेगा ये लगता नहीं है
वो जान कहता है तो क्या उसकी हुई मैं
वो जान अपनी तो किसे कहता नहीं है
तू तो गई, पर सबको भड़काया भला क्यों
अब बाद तेरे कोई याँ आता नहीं है
जब नाक पे गुस्सा चढ़ेगा तब कहेगी
जाओ मुझे तुमसे कोई शिकवा नहीं है
मैने बता कर तुझको छोड़ा था सनम, तब
ये मेरा समझौता हुआ धोखा नहीं है
तू इश्क़ करने में बड़ा माहिर है, हां पर
तू इश्क़ करने में अभी मुझसा नहीं है
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