ज़्यादा ही रौशनी की तमन्ना नहीं करो

  - Shivam Rathore

ज़्यादा ही रौशनी की तमन्ना नहीं करो
ख़ुद की ही ज़िंदगी में अँधेरा नहीं करो

अंदाज़ इस हयात का तुमको नहीं पता
ताउम्र साथ होंगे ये दावा नहीं करो

कब तक के जिस्म में रहे ये भार साँस का
तुम मौत के ख़िलाफ़ तो सौदा नहीं करो

अच्छा नहीं है आज बुरा कल नहीं रहे
सो बेफ़िज़ूल वक़्त से शिक़वा नहीं करो

होगा प्रलय तो सूर्य का आना भी तय नहीं
लौटोगे तुम किसी से ये वादा नहीं करो

  - Shivam Rathore

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