हो गया हूँ शायर सा,
दिल मे है कुछ खंजर सा
तुम अब अपने लगते हो,
कह लो इसको दिलबर सा
नया नया सब सीख रहा हूँ,
पाया तुमको रहबर सा
हम को तुमसे इश्क़ हुआ है
पहन लो हमको जेवर सा
उतने जरूरी हो अब तुम
शादी में ज्यों कोहबर सा
याद ऐसे आते हो तुम
ससुराल में पीहर सा
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